अमेरिका द्वारा भारत से आयात होने वाले कुछ सामानों पर 50 प्रतिशत तक का भारी टैरिफ लगाने की घोषणा के बाद भारत सरकार हरकत में आ गई है। अमेरिका ने इस संबंध में एक आधिकारिक अधिसूचना जारी की है। इसके बाद, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस गंभीर मुद्दे पर चर्चा के लिए एक उच्च-स्तरीय बैठक बुलाई है।
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बैठक में कौन-कौन है शामिल? यह महत्वपूर्ण बैठक प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) में हो रही है। इस बैठक में प्रधानमंत्री मोदी के साथ केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल भी मौजूद हैं। इसके अलावा, वाणिज्य और वित्त मंत्रालय के कई वरिष्ठ अधिकारी भी स्थिति का आकलन करने और आगे की रणनीति पर चर्चा करने के लिए बैठक में भाग ले रहे हैं।
अमेरिका का फैसला क्यों है चिंताजनक? अमेरिका का यह एकतरफा कदम भारत के लिए एक बड़ा झटका माना जा रहा है, क्योंकि इससे दोनों देशों के बीच व्यापार संबंधों पर नकारात्मक असर पड़ने की संभावना है। यह टैरिफ विशेष रूप से कुछ भारतीय निर्यातकों को प्रभावित करेगा, जिससे उनके लिए अमेरिकी बाजार में प्रतिस्पर्धा करना मुश्किल हो जाएगा।
भारत की संभावित प्रतिक्रिया इस बैठक में भारत द्वारा उठाए जाने वाले संभावित कदमों पर विचार किया जा रहा है, जिसमें विश्व व्यापार संगठन (डब्ल्यूटीओ) में शिकायत दर्ज करना या अमेरिका के कुछ सामानों पर जवाबी टैरिफ लगाना शामिल हो सकता है। सरकार का उद्देश्य भारत के हितों की रक्षा करना और इस व्यापारिक बाधा को दूर करना है।